Friday 27 January 2017

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मोहब्बत खुद बताती है

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मोहब्बत खुद बताती है, कहाँ किसका ठिकाना है.!
किसे आँखों में रखना है, किसे दिल में बसाना है..!!


मौसम में मस्त अजब सी ख़ुमारी छा रही है.!
सुना है कि मोहब्बत की "फरवरी"आ रही है.!!

इतनी सारी बातें मत किया करो मुझ से.!
दोस्ती को प्यार में बदलते देर नहीं लगती.!!

जिनकी झलक मे करार बहुत है..
उसका मिलना दुशवार बहुत है..
जो मेरे हांथों की लकीरों मे नहीं..
उस से हमें प्यार बहुत है.

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